लखनऊ : बलिया गोली कांड को लेकर एक बार फिर यूपी पुलिस सवालों के घेरे में है। आरोप लग रहे हैं कि पुलिस वालों ने आरोपियों की मदद की। झगड़ा करने वालों से गांववालों को नहीं बचाया गया। अब इस मामले पर सियासत गरमाने लगाए है। यूपी की योगी सरकार बलिया गोली कांड को लेकर विपक्षी निशाने पर आ गई है। समाजवादी पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव ने सरकार से पूछा है कि क्या एनकांउटर वाली सरकार अपने लोगों की गाड़ी पलटाएगी
बीएसपी सुप्रीमो मायावती ने तो यूपी में क़ानून व्यवस्था के दम तोड़ने का एलान कर दिया है। कांग्रेस ने योगी सरकार पर अपने लोगों को बचाने का आरोप लगाया है। गोली चलाने वाला बीजेपी का नेता बताया जा रहा है। इसी बात पर विपक्षी पार्टियों ने यूपी की बीजेपी सरकार घेरने की मुहिम शुरू कर दी है
अखिलेश यादव ने इस मामले को लेकर ट्वीट किया। उन्होंने लिखा, ”बलिया में सत्ताधारी भाजपा के एक नेता के, एसडीएम और सीओ के सामने खुलेआम, एक युवक की हत्या कर फ़रार हो जाने से उप्र में क़ानून व्यवस्था का सच सामने आ गया है। अब देखें क्या एनकाउंटरवाली सरकार अपने लोगों की गाड़ी भी पलटाती है या नहीं
गौरतलब है कि पुलिस वालों के सामने हत्या करने वाला बलिया का डबलू अब तक फ़रार है. उसे पकड़ने के लिए पुलिस की 12 टीमें बनाई गई हैं. रात भर छापे मारी होती रही. लेकिन बीजेपी नेता धीरेन्द्र सिंह उर्फ़ डबलू का कोई सुराग नहीं मिला है. न ही वो लाइसेंसी रिवॉल्वर मिला है, जिससे उसने गोली चलाई थी
पुलिस पर लगे आरोप
बलिया गोली कांड को लेकर एक बार फिर यूपी पुलिस सवालों के घेरे में है आरोप लग रहे हैं कि पुलिस वालों ने आरोपियों की मदद की झगड़ा करने वालों से गांववालों को नहीं बचाया गया. आरोपी और उसके समर्थक लगातार भीड़ पर पत्थर फेंकते रहे. फिर कई राउंड गोलियां भी चलाईं. जिसमें जयप्रकाश उर्फ़ गामा पाल की मौत हो गई उनके भाई बृजबिहारी पाल ने बलिया पुलिस पर कई गंभीर आरोप लगाए हैं झगड़ा सरकारी राशन की दुकान को लेकर हुआ था. इस घटना में छह और लोग भी घायल हुए हैं डीआईजी सुभाष चंद्र दूबे ने बताया कि आरोपी धीरेन्द्र सिंह रिटायर्ड आर्मी मैन है. 5 लोग इस मामले में गिरफ़्तार हो चुके है. बाक़ी को पकड़ने के लिए कार्रवाई जारी है