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कानपुर : जीएसवीएम मेडिकल कॉलेज के हैलट अस्पताल परिसर स्थित न्यूरो साइंस सेंटर को 15 दिन में खोला जाएगा। यहां चल रहे लेवल-3 कोविड हॉस्पिटल को 100 बेड मेटरनिटी विंग में शिफ्ट किया जाएगा। हैलट इमरजेंसी में ब्रेन स्ट्रोक एवं हेड इंजरी के मरीजों की बढ़ती संख्या को देखते हुए यह निर्णय लिया गया है। हैलट अस्पताल की इमरजेंसी में हादसे में घायल हेड इंजरी के रोजाना 30-35 मरीज रोजाना इलाज के लिए आते हैं। उनके इलाज प्रबंधन में अब दिक्कत होने लगी है। वहीं, इस मौसम में प्रतिदिन 15 -20 ब्रेन स्ट्रोक के मरीज भी आ रहे हैं। न्यूरो साइंस सेंटर को कोविड हॉस्पिटल बनाए जाने से यहां इन मरीजों को भर्ती करने में दिक्कत आ रही है। इस समस्या से न्यूरो सर्जरी विभागाध्यक्ष एवं इमरजेंसी के नोडल अफसर डॉ.मनीष सिंह ने प्राचार्य को अवगत कराया था। प्राचार्य प्रो आरबी कमल ने समस्या को देखते हुए न्यूरो साइंस सेंटर से कोविड हॉस्पिटल को मेटरनिटी विंग में शिफ्ट करने का आदेश दिया है। वहां अभी मात्र चार कोरोना संक्रमित ही भर्ती हैं।
प्राचार्य प्रो आरबी कमल ने बताया कि न्यूरो साइंस सेंटर को संक्रमण रहित बनाने के लिए 15 लाख रुपये खर्च होंगे। यहां कोविड आइसीयू था। इसलिए एसी डक्टर,वेंटीलेटर एवं फाल सिलिंग को संक्रमण रहित बनाने के लिए एजेंसी से बात की गई है। यहां कोरोना के गंभीर मरीज भर्ती होते थे। इसलिए स्पेशल तकनीक से इसे संक्रमण रहित बनाया जाएगा ताकि फैकल्टी,सीनियर.जूनियर रेजीडेंट और कर्मचारियों को किसी प्रकार की दिक्कत न आने पाए