उरई। नगर मजिस्ट्रेट/सचिव उरई विकास प्राधिकरण कुंवर वीरेन्द्र मौर्य ने बताया कि उरई महायोजना 2031 दिनांक 14 दिसम्बर 2022 से उरई विकास प्राधिकरण क्षेत्र में प्रभावी हो गयी है। उरई विकास प्राधिकरण क्षेत्र के अन्तर्गत कई क्षेत्रों में भू उपयोग कृषि से आवासीय/वणिक परिवर्तित किया गया है। उन्होंने बताया कि इकलासपुर से चुर्खी चैराहा, चुर्खी चैराहे से जालौन चैराहा, कोच रोड तक भू उपयोग कृषि से आवासीय किया गया है। चुर्खी चैराहे से चकजगदेवपुर की सीमा तक कृषि से आवासीय किया गया है। इकलासपुरा से जालौन चैराहा तक रोड पर निर्माण करने की अनुमन्य दूरी 66 मीटर से 45 मीटर कर दी गयी है। जेल रोड पर पार्क एवं क्रीडा स्थल की भूमि को आवासीय रूप में परिवर्तित कर दिया गया है। मरघट रोड पर कोंच तिराहे से झांसी चुंगी तक पार्क एवं क्रीड़ा स्थल से आवासीय रूप में परिवर्तित कर दिया गया है। राठ रोड पर विजयविक्रम होटल से एन0एच0-27 तक कृषि भूमि को आवासीय भूमि में परिवर्तित कर दिया गया है। चैरसी चैराहे से पालिटेक्निक तक ट्रांसपोर्ट नगर से भू उपयोग को आवासीय/वाणिज्यिक कर दिया गया है। अजनारी रोड पर वाईपास से एनएच-27 हाईवे तक कृषि भूमि को आवासीय भूमि में परिवर्तित किया गया है। राष्ट्रीय राजमार्ग एवं प्रादेशिक राजमार्ग पर नगरीकरण के पश्चात 30 मीटर का ग्रीनबेल्ट एवं 300 मीटर का हाईवे फैसलिटी जोन निर्धारित किया गया है। उन्होंने बताया कि इसी तरह अन्य स्थानों पर भू उपयोग को परिवर्तित किया गया है। सही उपयोग के बारे में विस्तृत जानकारी उरई विकास प्राधिकरण कार्यालय में प्रत्येक कार्यदिवस में प्राप्त की जा सकती है। उरई विकास प्राधिकरण क्षेत्रान्तर्गत मानचित्र स्वीकृत कराकर ही निर्माण कार्य करे। बिना मानचित्र स्वीकृत कराये निर्माण कार्य पाये जाने पर उ0प्र0 नगरीय योजना एवं विकास अधिनियम 1973 के अन्तर्गत सील एवं ध्वस्तीकरण की कार्यवाही की जायेगी।