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वाराणसी में कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या में तेजी से बढ़ोतरी हो रही है।

वाराणसी : में कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या में तेजी से बढ़ोतरी हो रही है।  स्वास्थ विभाग की ओर से जारी मेडिकल बुलेटिन के मुताबिक बुधवार को सुबह 11 बजे तक 2743 लोगों के सैंपल में 951 नए मरीजों में कोरोना की पुष्टि हुई है। तेजी से बढ़ती मरीजों की संख्या को देखते हुए स्वास्थ्य विभाग नए सिरे से अस्पतालो में भर्ती करने सहित अन्य व्यवस्थाओं में लगा हुआ है, हालांकि अभी भी जरूरत के हिसाब से बहुत से लोगों को बेड नहीं मिल पा रहा है। अब नए मरीजों के मिलने के बाद कुल 61424 लोग संक्रमित हो गए हैं। इसमें  42098 के डिस्चार्ज 519 की मौत के बाद अब 18807 एक्टिव मरीज है।

पुलिस ने एक लाख के इनामी बदमाश लालू को किया ढेर

वाराणसी : घायल हुए बदमाश की अस्पताल ले जाते समय मौत हो गई। बाद में शिनाख्त होने पर पता चला मृतक एक लाख का इनामी अपराधी लालू यादव है। लालू के विरुद्ध मऊ के साथ जौनपुर, आजमगढ़, चंदौली सहित विभिन्न जनपदों में 85 मुकदमे दर्ज है।

पुलिस अधीक्षक सुशील घुले के मुताबिक लालू यादव पर करीब 85 मुकदमे है, जिनमें सबसे अहम मुकदमा जौनपुर में एक सर्राफा व्यापारी से दो करोड़ की लूट मिर्जापुर और वाराणसी में सुनार के साथ लूट एवं हत्या का मामला दर्ज है इसके अलावा मऊ में आरटीआई कार्यकर्ता बालमुकुंद की हत्या में वांछित था। भदोही में कैश वैन से तीन लाख  की लूट किया था, यहां गार्ड को गोली मारी गई थी। पुलिस अधीक्षक के मुताबिक लालू यादव अपने घर चुनाव के मकसद से आ रहा था, तभी गश्त पर निकली सरायलखंसी पुलिस से उसका सामना हो गया। फायरिंग की सूचना मिलने पर स्वाट टीम भी मौके पर पहुंच गई।

मुठभेड़ के दौरान पुलिस की गोली लगने से लालू यादव गंभीर रूप से घायल हुआ। घायल को पुलिस उपचार के लिए अस्पताल ले जाने की व्यवस्था किए, इस बीच घायल की मौत हो गई। क्षेत्राधिकारी नगर धनंजय मिश्रा ने बताया कि मारे गए बदमाश की शिनाख्त उसके शव से हुई। बदमाश के शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया। उन्होंने बताया कि लालू के साथ एक बदमाश और था वह भाग निकला, उसकी तलाश की जा रही है। लालू सरायलखंसी थाने के डोड़ापुर गांव का निवासी था।

पड़ोसियों ने कंधा नहीं दिया तो साइकिल पर ले जाने लगा पत्नी का शव

वाराणसी :  कोरोना काल में जहां एक तरफ अपने भी पराए हो जा रहे हैं, शव को कंधा देने के लिए पड़ोसी-रिश्तेदार भी आगे नहीं आ रहे। ऐसे समय मे जौनपुर की पुलिस ने इंसानियत की मिसाल पेश की है। कोरोना से मृत पत्नी के अंतिम संस्कार में सहयोग के लिए गांव से चार कंधे नहीं मिले तो पति साइकिल पर ही शव रखकर नदी किनारे चल पड़ा। सूचना पाकर पहुंची पुलिस ने न सिर्फ कंधा दिया, बल्कि अंतिम संस्कार के लिए सामान और शव घाट तक पहुंचाने के लिए वाहन भी उपलब्ध कराया। मामला मड़ियाहूं कोतवाली क्षेत्र के अम्बरपुर गांव का है।

गांव निवासी तिलकधारी सिंह की पत्नी राजकुमारी (56) ने जिला अस्पताल में उपचार के दौरान दम तोड़ दिया। एंबुलेंस से शव लेकर तिलकधारी गांव पहुंचे। अंतिम संस्कार के लिए शव घाट तक ले जाने में पड़ोसियों का सहयोग मांगा, लेकिन कोरोना से मौत बताकर कोई भी आगे नहीं आया। हालात के आगे बेबस तिलकधारी को और कोई उपाय नहीं दिखा तो पत्नी के शव को अपनी साइकिल पर रखकर अकेले ही अंतिम संस्कार करने की ठान ली।

वह साइकिल पर शव लेकर गांव में नदी के किनारे पहुंचे। दाह संस्कार करने के लिए अभी चिता भी नहीं लगा पाए थे कि गांव के लोगों ने शव जलाने से मना कर दिया। सूचना पर पहुंची पुलिस ने मौके पर जाकर तिलकधारी सिंह की सहायता की। शव के लिए टिकठी बनवाई, उसे कंधा दिलाया और फिर वाहन की व्यवस्था कर शव को रामघाट तक भेजवाया।

अंतिम संस्कार के लिए पैसे भी मुहैया कराया। इस संबंध में सीओ मड़ियाहूं संत कुमार ने बताया कि घटना की सूचना पर पुलिस पहुंच गई थी। पुलिस ने तिलकधारी सिंह की सहायता की। शव के लिए गाड़ी का इंतजाम भी कराया गया। इसके अलावा अंतिम क्रिया के लिए शव को जौनपुर के रामघाट पर भेजवाया गया। पुलिसकर्मियों का प्रयास सराहनीय है।

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