स्वीकृति समिति का भी अनुदान न देने का फैसला
लखनऊ : उत्तर प्रदेश के चार कृषि विश्वविद्यालयों के स्तर से प्रस्तावित पांच प्रोजेक्ट को केंद्र ने अस्वीकार कर दिया हैं। इसके बाद राज्य सरकार ने भी इन प्रोजेक्ट पर अनुदान न देने का फैसला किया है। हालांकि एक प्रोजेक्ट के लिए अनुदान का नया रास्ता सुझाया गया है। चंद्रशेखर आजाद कृषि एवं प्रौद्योगिकी विवि कानपुर ने मिट्टी व पौध से संबंधित विभिन्न तरह के विश्लेषण के लिए कार्यरत मिट्टी जांच प्रयोगशाला और आचार्य नरेंद्र देव कृषि एवं प्रौद्योगिकी विवि कुमारगंज अयोध्या ने मृदा स्वास्थ्य प्रयोगशाला के सुदृढ़ीकरण का प्रस्ताव भेजा था। इसी तरह बांदा कृषि एवं प्रौद्योगिकी विवि ने एडवांस बांस प्रोसेसिंग यूनिट व क्वालिटी टेस्टिंग सेंटर और टिशू कल्चर लैब स्थापित करने का प्रस्ताव भेजा था। सैम हिग्गिनबट्टम (सुआट्स) प्रयागराज ने भी अच्छे गुणवत्ता के बीज रहित अमरूद फल के विकास का एक प्रस्ताव भेजा था। ये सभी प्रस्ताव राष्ट्रीय कृषि विकास योजना (आरकेवीवाई)-रफ्तार के अंतर्गत भेजे गए थे।
केंद्र सरकार ने इन सभी प्रोजेक्ट पर वित्तीय सहायता देने से इनकार कर दिया है। केंद्र द्वारा वित्तीय सहायता न दिए जाने की वजह से मुख्य सचिव की अध्यक्षता वाली राज्य स्तरीय स्वीकृति समिति ने भी इन प्रस्तावों को मंजूरी नहीं दी है। ये पांचों प्रोजेक्ट 5 करोड़ 41 लाख 47 हजार रुपये के थे। हालांकि बांदा विवि के टिशू कल्चर लैब की स्थापना के लिए वित्तीय सहायता प्राप्त करने का नया रास्ता सुझाया गया है। बताया गया है कि इस लैब के लिए केंद्र सरकार की एमआईडीएच योजना में 2.50 करोड़ रुपये तक की वित्तीय सहायता प्राप्त की जा सकती है। केंद्र सरकार से समन्वय कर इस परियोजना के लिए वित्तीय सहायता प्राप्त कर ली जाए।
अब्दुल्ला के साथ लखनऊ से सीतापुर जेल पहुंच गए आजम खां
लखनऊ : सपा नेता आजम खां 64 दिन बाद मंगलवार को अपने बेटे अब्दुल्ला के साथ लखनऊ से सीतापुर जेल पहुंच गए हैं। कड़ी सुरक्षा के बीच पुलिस उन्हें लेकर जेल पहुंची और इसके बाद दोनों को उनकी बैरकों में भेज दिया गया। बता दें कि सपा सांसद आजम खान अपने बेटे अब्दुल्ला आजम के साथ सीतापुर जेल में बंद थे। कोरोना की दूसरी लहर में जेल के बंदियों का सैंपल लेकर जांच के लिए भेजा गया था जिसमें 1 मई को आई रिपोर्ट में सपा नेता आजम खान समेत 13 बंदी कोरोना संक्रमित पाए गए थे।
कई दिनों तक आजम खान का इलाज जेल में ही डॉक्टरों की निगरानी में किया गया लेकिन हालत में सुधार नहीं होने पर 9 मई को आजम खान और उनके बेटे अब्दुल्ला को लखनऊ के मेदांता अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां पर उनका इलाज चल रहा था। लंबे समय तक चले इलाज के बाद वह पूरी तरह से स्वस्थ हो गए। डॉक्टरों द्वारा उनके स्वास्थ्य के परीक्षण के बाद उन्हें मंगलवार को अस्पताल से डिस्चार्ज कर दिया गया। इसके बाद आजम व उनके बेटे जेल वापस आ गए। उनको सुरक्षित जेल तक पहुंचाने के लिए एसपी आरपी सिंह ने सुरक्षा व्यवस्था के कड़े इंतजाम किए थे। वह अटरिया, सिधौली, कमलापुर व खैराबाद होते हुए शहर में दाखिल हुए। आजम खां और उनके बेटे को एंबुलेंस से लखनऊ से लाया गया।
शहर में एंट्री करते ही एसडीएम, सीओ पीयूष सिंह व शहर कोतवाल टीपी सिंह स्कॉट करते हुए दोपहर 12:30 बजे के करीब जेल गेट पर पहुंचे। जहां पर कागजी कार्रवाई पूरी करने के बाद आजम खान और उनके बेटे अब्दुल्ला को जेल के अंदर ले जाया गया। जेलर आरएस यादव ने बताया कि सपा नेता आजम खान और उनके बेटे अब्दुल्ला को 9 मई को जेल से लखनऊ ले जाया गया था। मंगलवार को 64 दिन बाद दोनों लोग जेल आ गए हैं। दोनों को उनकी बैरकों में शिफ्ट कर दिया गया।
चुनाव के कुछ महीने पहले नीति लाने पर मायावती ने उठाए सवाल
लखनऊ : बसपा सुप्रीमो मायावती ने कहा कि यूपी सरकार द्वारा जनसंख्या नियंत्रण के लिए लाया जा रहा नया बिल इसके गुण दोष से अधिक इस राष्ट्रीय चिंता के प्रति उनकी गंभीरता, टाइमिंग को लेकर सवाल खड़े कर रहा है। इसकी नीति और नीयत दोनों पर सवाल खड़े कर रहा है। उन्होंने ट्वीट कर कहा कि इसमें लोगों को गंभीरता कम और चुनावी स्वार्थ ज्यादा लग रहा है। उन्होंने कहा कि अगर जनसंख्या नियंत्रण को लेकर यूपी सरकार थोड़ी भी गंभीर होती तो वह इस काम को तभी शुरू कर देती जब उनकी सरकार बनी थी। इस बारे में लोगों में जागरूकता पैदा करती तो विधानसभा चुनाव के समय तक इसके नतीजे भी मिल सकते थे।
मायावती ने कहा कि यूपी को बेरोजगार युक्त बनाकर उसे देश की शक्ति व सम्मान में बदलने की विफलता के कारण भाजपा अब कांग्रेस की सरकार की तरह ही जोर जबरदस्ती से अधिकतर परिवारों को दंडित करके जनसंख्या पर नियंत्रण करना चाहती है।दरअसल, योगी सरकार ने नई जनसंख्या नीति का एलान किया है। जिसके तहत कई लक्ष्य रखे गए हैं पर यूपी चुनाव के कुछ महीने पहले यह नीति लाने पर सवाल उठ रहे हैं।
सपा 15 जुलाई को प्रदेश भर में करेगी प्रदर्शन
लखनऊ : सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव का एक वीडियो सुर्खियों में है। इसमें वह कह रहे हैं कि मैं यूपी पुलिस विशेषकर भाजपा सरकार पर भरोसा नहीं कर सकता। उन्होंने यह बात प्रदेश में संदिग्ध आतंकियों की गिरफ्तारी के सवाल के जवाब में कही है। जबकि उनकी पार्टी ने आरोप लगाया है कि गलत मायने निकालने के लिए एडिट की हुई वीडियो क्लिप चलाई जा रही है।
सपा 15 जुलाई को प्रदेश भर में प्रदर्शन करेगी। तहसील मुख्यालय पर होने वाले प्रदर्शन के बाद राष्ट्रपति को संबोधित ज्ञापन सौंपा जाएगा। सपा के प्रदेश अध्यक्ष नरेश उत्तम ने सभी जिला इकाइयों को प्रदर्शन की रूपरेखा भेज दिया है। प्रदर्शन के दौरान बढ़ती महंगाई, नौजवानों की बेरोजगारी, बदहाल स्वास्थ्य व्यवस्था, हत्या सहित अन्य अपराधिक घटनाओं का विरोध किया जाएगा।किसानों को लाभकारी मूल्य देने और न्यूनतम समर्थन मूल्य की गारंटी, गन्ना किसानों का बकाया भुगतान करने, महिलाओं के साथ अपराधों पर रोक लगाने, सपा कार्यकर्ताओं पर फर्जी मुकदमे दर्ज करने का विरोध किया जाएगा। इस प्रदर्शन में समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ता व क्षेत्र पंचायत के सदस्य, जिला पंचायत सदस्य के साथ सभी वरिष्ठ नेताओं, फ्रंटल संगठनों, बूथ कमेटी के सदस्यों तक हिस्सा लेंगे।
खदरा में हुआ मिनहाज और मशीरूद्दीन का संबंध
लखनऊ : बेगरिया निवासी मिनहाज ने 2016 में इंट्रीगल यूनिवर्सिटी में लैब असिस्टेंट का काम छोड़ने के बाद बैटरी की एजेंसी ले ली। उसने अपना दुकान खदरा इलाके में खोल रखा था। वहीं पर करीब तीन साल पहले खदरा में रहने वाले मशीरूद्दीन से हुई थी। उस वक्त मशीरूद्दीन ई-रिक्शा चलाता था। बैटरी के लेनदेन के दौरान दोनों में संबंध हुए। इसके बाद मिनहाज की बातों में आकर उसने अपना ई-रिक्शा पिछले साल बेच दिया। इसके बाद उसकी दुकान पर रोज आकर बैठने लगा। जहां से दोनों ने मिलकर आतंकी कारोबार शुरू किया।
एटीएस की पड़ताल में सामने आया कि मिनहाज ने 2016 में इंट्रीगल यूनिवर्सिटी में लैब असिस्टेंट था। वहां की नौकरी उसने छोड़ दी। इसके बाद एक बैटरी की एजेंसी ले ली। जिसका शोरूम और दुकान खदरा इलाके में शिया कालेज के पास खोला। वहीं खदरा का रहने वाला मशीरूद्दीन ई-रिक्शा चलाता था। वह कई बार अपने ई-रिक्शा के बैटरी के चक्कर में मिनहाज की दुकान पर गया। बैटरी खरीदने के दौरान उसकी अक्सर मिनहाज से बातचीत होती थी। ई-रिक्शा से ज्यादा कमाई न होने व परिवार का खर्च न चल पाने की बात भी मशीरूद्दीन मिनहाज से करता था। मिनहाज ने उसे ई-रिक्शा बेचने की सलाह दी। वहीं उससे कहा कि वह उसकी दुकान पर काम करें तो उसका सहयोग हो जाएगा। साथ ही वह उसके परिवार की जरूरतों को पूरा कर देगा। उसके प्रस्ताव को मशीरूद्दीन ने मान लिया। मशीरूद्दीने पिछले लॉक डाउन में जब एकदम आमदनी बंद हो गई तो ई-रिक्शा बेचकर मिनहाज के पास चला गया।
एटीएस के सूत्रों के मुताबिक मशीरूद्दीन ने अपना खदरा वाला घर भी बेच दिया। उससे मिली रकम को उसने मिनहाज केकहने पर कारोबार में लगाने को तैयार हो गया। इसी बीच उसने रहने केलिए मोहिबुल्लापुर के नौबस्ता में एक टूटा हुआ मकान खरीद लिया। जिसकी आज तक मरम्मत तक नहीं करा सका। घर की दीवारों पर परदे लगाकर आड़ कर दिया। परिवार में उसकी मां शाहजहां बानो, पत्नी सईदा, बेटी जैना, जोया, जेबा और चार साल का बेटा मुस्तकीम है। मशीरूद्दीन की छोटी बेटी काफी बीमार है। उसे सुगर हो गया है। वह इन्सुलिन पर चलती है। उसे दिन में तीन बार इन्सुलिन लगती है। ई-रिक्शा चलाकर उसका इलाज कराने में असमर्थ था। मिनहाज के साथ आने पर उसकी मदद होती रही। जिसके कारण मिनहाज के कहे अनुसार उसने काम शुरू कर दिया।
पड़ताल में यह बात सामने आई की बैटरी के नाम पर दोनों मिलकर आतंकी कारोबार को बढ़ाने में जुट गये। दोनों इसके नाम पर कई प्रदेशों में जाने लगे। दोनों एक साथ कई बार जम्मू-कश्मीर भी गये थे। जहां से आतंकी संगठनों के लोगों से मुलाकात करते। कुछ दिनों तक वहां ठहरने के बाद वापस लखनऊ आ जाते। इस दौरान कई बार एजेंसी व मिनहाज के निजी बैंक खातों से जम्मू-कश्मीर में कई संदिग्ध खातों में रुपये भी ट्रांसफर किये गये थे। कई बार संदिग्ध खातों में रकम जमा करने का काम मशीरूद्दीन करता था। हर बार रकम जमा करने के लिए उसे कई बार अलग से धन भी मुहैया कराया जाता था।
सरकारी प्रतिष्ठानों व भीड़भाड़ वाले क्षेत्रों में धमाके की फिराक में थे आतंकी
लखनऊ : से गिरफ्तार किए गए अलकायदा के दोनों संदिग्ध आतंकी मसीरुद्दीन और मिनहाज ने सरकारी प्रतिष्ठानों और भीड़भाड़ वाले इलाकों में धमाके की साजिश रची थी। सोमवार को एटीएस की विशेष अदालत में दोनों की पेशी के दौरान विवेचक ने अदालत के सामने ये तथ्य रखे। विवेचक ने अदालत को बताया कि आतंकी संगठन अलकायदा के उमर हेलमंडी ने अलकायदा इंडियन सबआर्डिनेट नाम के संगठन अंसार गजवारुल हिंद में सदस्यों की भर्ती की। उमर भर्ती किए गए लोगों को बरगलाकर देश में आतंकी घटनाओं को अंजाम देने के लिए तैयार कर रहा था। विवेचक ने कहा कि यह लोग देश की अखंडता, एकता और संप्रभुता को नुकसान पहुंचाने के लिए गिरोह बनाए थे और प्रदेश के सरकारी प्रतिष्ठानों, भवनों, संवेदनशील स्थानों और भीड़भाड़ वाले इलाकों में बम विस्फोट करने के लिए भारी मात्रा में विस्फोटक एकत्र करके कुकर बम तैयार करने के साथ ही हथियार भी इकट्ठा किया है और अपने गिरोह में अन्य सदस्यों की भर्ती की है। ऐसे में इनकी कम से कम 14 दिन की रिमांड जरूरी है। इस पर अदालत ने दोनों आतंकियों को 14 दिन के रिमांड पर दे दिया है।
एडीजी कानून व्यवस्था प्रशांत कुमार ने बताया कि दोनों ही आरोपियों की रिमांड 14 दिन की मिल गई है। इन दोनों से पूछताछ कर राज उगलवाए जाएंगे। दोनों के पास से दो प्रेशर कुकर बम और एक पिस्टल के अलावा कुछ नहीं मिला है। उन्होंने बताया कि यह लोग सीधे अलकायदा के समर्थित आतंकी संगठन अंसार गजवारुल हिंद नाम के संगठन के किन-किन लोगों से जुड़े थे, इसके बारे में भी पड़ताल की जाएगी।
लखनऊ में आतंकियों के पकड़े जाने के बाद भारत-नेपाल सीमा पर अलर्ट जारी किया गया है। भारत-नेपाल के लखीमपुर खीरी बॉर्डर व सोनौली बॉर्डर सहित ठूठीबारी सीमा पर निगरानी तेज की दी गई है। मुख्य बॉर्डर से लेकर नदी घाटों और पगडंडियों पर जवानों की संख्या बढ़ाते हुए 24 घंटे निगरानी रखी जा रही है। सरहद पर नेपाल से आने वाले प्रत्येक लोगों की तलाशी लेने के साथ आईडी की जांच की जा रही है। एसएसबी के अलावा सुरक्षा एजेंसियां चौकस हैं।
इंटीग्रल यूनिवर्सिटी में साथ काम करते थे मिनहाज व उसकी पत्नी
लखनऊ : एटीएस की कार्रवाई में रविवार को गिरफ्तार अलकायदा आतंकी मिनहाज राजधानी की एक प्रतिष्ठित निजी विश्वविद्यालय में बतौर लैब असिस्टेंट काम कर चुका है। उसकी पत्नी भी उसी विश्वविद्यालय में असिस्टेंट प्रोफेसर के पद पर तैनात है। विवि में दोनों के बारे में खुलकर कोई भी बोलने को तैयार नहीं है। सिर्फ इतना ही बताया कि मिनहाज की पत्नी अंबरीन का व्यवहार सामान्य था। उसके बातचीत के तरीके से संदेह नहीं होता था। मिनहाज ने पांच साल पहले विवि की नौकरी छोड़ दी थी और बैटरी की दुकान खोली थी।
दुबग्गा के बेगरिया में रहने वाला मिनहाज अहमद इंटीग्रल यूनिवर्सिटी में अगस्त 2013 से 30 जनवरी 2016 तक बतौर लैब असिस्टेंट तैनात था। वहां पर वह किसी से कोई खास सरोकार नहीं रखता था। इसी दौरान उसके ताल्लुकात अंबरीन नाम की युवती से हुई जिसने इंटीग्रल यूनिवर्सिटी से ही 2009 में बीटेक की पढ़ाई पूरी की। इसके बाद वहीं इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग विभाग में बतौर असिस्टेंट प्रोफेसर तैनात हो गई। दोनों के प्रेम संबंध के बारे में परिवारीजनों को जानकारी हुई तो तीन साल पहले सभी की रजामंदी के बाद निकाह हुआ। मिनहाज व अम्बरीन दोनों एक साथ तीन सालों तक एक ही विश्वविद्यालय में काम करते थे। मिनहाज के दो बच्चे हैं। उसकी पत्नी आज भी इसी यूनिवर्सिटी में पढ़ाती है। संस्थान का वाहन पास एटीएस को मिनहाज के पिता सिराज के एसयूवी में लगा मिला था।
रविवार को एटीएस की कार्रवाई के बाद मिनहाज और अंबरीन के बारे में इंटीग्रल यूनिवर्सिटी में काफी चर्चा रही। हालांकि छात्रों की अभी विश्वविद्यालय आमद नहीं है लेकिन शैक्षणिक कार्यों को पूरा करने के लिए शिक्षक, प्रशासनिक अधिकारी व अन्य कर्मचारी आ रहे हैं। वहां तैनाप्रशासनिक अधिकारियों के मुताबिक न्यूज चैनल व समाचार पत्र के जरिए इस बारे में जानकारी मिली है। पुलिस का कोई अधिकारी या कर्मचारी दोनाें के बारे में किसी भी तरह की जानकारी नहीं हासिल करने आया। हालांकि दो दिन बाद भी किसी को इस बात का भरोसा नहीं हो रहा है कि अंबरीन के पति मिनहाज का संबंध आतंकी संगठनों से है।
राजधानी के दुबग्गा से आतंकी मिनहाज की गिरफ्तारी पर उसके पिता सिराज ने हैरानी जताई। विकास भवन से सेवानिवृत्त सिराज का कहना है कि उन्हें सच्चाई का पता नहीं, लेकिन बेटा ऐसा करेगा, इसकी उम्मीद नहीं है। सिराज ने सोमवार को कहा कि मैं बहुत ज्यादा सदमे में हूं। मैं दिनभर दुआ, कुरआन व नमाजें पढ़ता रहा, ताकि ऊपर वाला सब ठीक कर दे। हालांकि सिराज ने कहा कि मैं एटीएस की कार्रवाई पर सवाल नहीं उठा रहा।
दुबग्गा के बेगरिया में रिंग रोड के किनारे अदनान पल्ली स्थित आतंकी मिनहाज के घर के बाहर सोमवार को भी दिनभर लोगों का जमावड़ा लगा रहा। प्रिंट व इलेक्ट्रानिक मीडिया के साथ ही पुलिसकर्मी भी यहां दिनभर मौजूद रहे। कोई माजरा जानने की कोशिश कर रहा था तो कोई मोबाइल से फोटो खींच रहा था। हालांकि इन सबके चलते मिनहाज के मकान के आसपास रहने वाले लोग घरों में ही कैद रहे। न तो बाहर निकले और न ही किसी से बातचीत की। यहां तक कि आसपास के दुकानदारों ने दुकान तक नहीं खोली। देर शाम तक मिनहाज के घर के आसपास जमावड़ा लगा रहा।
उच्च सदन में बहुमत हासिल करने पर नजर
लखनऊ : पंचायत चुनाव में जीत से उत्साहित भाजपा अब विधान परिषद स्थानीय निकाय क्षेत्र की 35 सीटों पर होने वाले चुनाव की तैयारियों में पूरी ताकत के साथ जुटेगी। फरवरी-मार्च में प्रस्तावित विधानसभा चुनाव 2022 के मद्देनजर विधान परिषद चुनाव करीब तीन महीने पहले दिसंबर में कराए जा सकते हैं। परिषद चुनाव में जीत मिलने के साथ ही भाजपा उच्च सदन में भी बहुमत में आ जाएगी। सौ सदस्यों वाली विधान परिषद में अभी सपा के 48, भाजपा के 32, बसपा के छह, कांग्रेस के दो, अपना दल के एक, शिक्षक दल के एक, निर्दलीय समूह के 2, निर्दलीय तीन और पांच रिक्त पद है। पांच रिक्त पदों में से मनोनीत क्षेत्र के चार सदस्यों का कार्यकाल 5 जुलाई को समाप्त हुआ है। प्रदेश सरकार की ओर से रिक्त पदों पर मनोनयन की कार्रवाई चल रही है।
विधान परिषद में स्थानीय निकाय क्षेत्र की 35 सीटों का कार्यकाल 7 मार्च 2022 को समाप्त हो रहा है। वर्तमान में स्थानीय निकाय क्षेत्र से अधिकांश एमएलसी सपा से हैं। परिषद में बहुमत के लिए भाजपा को निकाय क्षेत्र की 35 में से कम से कम 15 सीटों पर जीत जरूरी है। पार्टी ने परिषद चुनाव के लिए प्रत्याशियों की तलाश शुरू कर दी है। चुनाव में निर्वाचन क्षेत्र बड़ा होने के कारण पार्टी उम्मीदवारों को प्रचार और जनसंपर्क के लिए पर्याप्त समय देना चाहती है। लिहाजा अगस्त के अंत तक पार्टी की ओर से प्रत्याशी चयन की कार्रवाई पूरी कर ली जाएगी।
वर्तमान में निकाय क्षेत्र से सपा के विधान परिषद सदस्यों में कुछ सदस्य टूटकर भाजपा में जा सकते है। कुछ सदस्यों ने क्षेत्र में अपनी मजबूत राजनीतिक जमीन दिखाते हुए भाजपा के वरिष्ठ नेताओं से संपर्क भी शुरू किया है। उनका मानना है कि प्रदेश में चुनाव में सत्ताधारी दल का प्रभाव चलेगा। लिहाजा भाजपा से अलग रहकर सीट जीतना उनके लिए मुश्किल होगा।
औद्योगिक गतिविधियों के माध्यम से बड़े पैमाने पर रोजगार सृजित होता है जिससे युवाओं को रोजगार मिलने की सम्भावनाएं बढ़ जाती हैं : मुख्यमंत्री
लखनऊ : उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के समक्ष यहां उनके सरकारी आवास पर रिव्यु ऑफ मिनिमाइजिंग रेगुलेटरी कॉम्प्लायन्सेज़ बर्डेन विषयक प्रस्तुतीकरण किया गया। इस अवसर पर मुख्यमंत्री जी ने कहा कि अनावश्यक कानूनों से सम्बन्धित सभी विभागों के लम्बित प्रकरणों के समाधान के लिए टाइम लाइन निर्धारित करते हुए समयबद्धता से इनका निस्तारण किया जाए। मुख्यमंत्री कार्यालय द्वारा इन प्रकरणों के समाधान के लिए विभिन्न विभागों द्वारा की जा रही कार्यवाही की निरन्तर मॉनिटरिंग की जाए। उन्होंने मुख्य सचिव को इस कार्य की नियमित समीक्षा करने के लिए कहा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ‘ईज ऑफ डुईंग बिजनेस’ तथा ‘ईज ऑफ लिविंग’ को पूरी तरह से लागू करना चाहती है, ताकि प्रदेश में औद्योगिक गतिविधियों को त्वरित गति से संचालित किया जा सके और नागरिकों को बेहतर सुविधाएं मिल सकें। प्रदेश के विकास में औद्योगिक गतिविधियों का विशेष योगदान है। इसके माध्यम से बड़े पैमाने पर रोजगार सृजित होता है, जिससे युवाओं को रोजगार मिलने की सम्भावनाएं बढ़ जाती हैं। उन्होंने कहा कि इसके दृष्टिगत अनावश्यक कानूनों से सम्बन्धित सभी विभागों के लम्बित प्रकरणों का समाधान निर्धारित तिथि तक हर हाल में कर दिया जाए। जिन नियम/कानूनों को रिपील किया जाना है, उनके सम्बन्ध में तेजी से कार्यवाही करके इन्हें समाप्त किया जाए।
मुख्यमंत्री के समक्ष प्रस्तुतीकरण करते हुए अपर मुख्य सचिव अवस्थापना एवं औद्योगिक विकास अरविन्द कुमार ने अवगत कराया कि ‘मिनिमाइजिंग रेगुलेटरी कॉम्प्लायन्सेज़ बर्डेन’ पहल केन्द्र सरकार द्वारा सितम्बर, 2020 में शुरू की गई थी। इसका उद्देश्य निर्धारित मापदण्डों पर मिनिमाइजिंग रेगुलेटरी कॉम्प्लायन्सेज़ बर्डेन को कम करना था। इस पहल से ईज ऑफ डुईंग बिजने और ईज ऑफ लिविंग पर विशेष बल दिया गया।
मुख्यमंत्री को अवगत कराया गया कि इस पहल के दो चरण हैं। पहला चरण 31 मार्च, 2021 में लागू हुआ जबकि दूसरा चरण 15 अगस्त, 2021 से लागू होगा। उन्होंने बताया कि इन दोनों चरणों के तहत 675 कॉम्प्लायन्सेज़ को चिन्हित किया गया। इन विभागों में श्रम, आबकारी, ऊर्जा, वन, रेरा, पर्यावरण, खाद्य एवं रसद, प्राथमिक शिक्षा, पंचायती राज, उच्च शिक्षा, हैण्डलूम तथा वस्त्रोद्योग, गृह, चिकित्सा शिक्षा, राजस्व, आवास, मत्स्य, सिंचाई तथा जल संसाधन, तकनीकी शिक्षा, परिवहन एवं नगरीय विकास शामिल हैं।
इस अवसर पर मुख्य सचिव आर0के0 तिवारी, कृषि उत्पादन आयुक्त आलोक सिन्हा, अपर मुख्य सचिव गृह अवनीश कुमार अवस्थी, अपर मुख्य सचिव एम0एस0एम0ई0 एवं सूचना नवनीत सहगल, अपर मुख्य सचिव ग्राम्य विकास एवं पंचायती राज मनोज कुमार सिंह, अपर मुख्य सचिव उद्यान एवं खाद्य प्रसंस्करण मनोज सिंह, अपर मुख्य सचिव उच्च शिक्षा मोनिका एस0 गर्ग, अपर मुख्य सचिव वाणिज्य कर एवं अवस्थापना एवं औद्योगिक विकास आयुक्त संजीव मित्तल, अपर मुख्य सचिव नगर विकास डॉ0 रजनीश दुबे, प्रमुख सचिव आवास दीपक कुमार, प्रमुख सचिव चिकित्सा शिक्षा आलोक कुमार, प्रमुख सचिव मुख्यमंत्री एवं सूचना संजय प्रसाद, प्रमुख सचिव वन सुधीर गर्ग, प्रमुख सचिव परिवहन आर0के0 सिंह सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे।
अल्पसंख्यको बुनकरों की समस्याओं के समाधान व रोजगार पर किया वादा भी नही निभाया -नसीमुद्दीन सिद्दीकी
लखनऊ : उत्तर प्रदेश सरकार के पूर्व मंत्री कांग्रेस मीडिया विभाग के चेयरमैन नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने भाजपा द्वारा 2017 के विधानसभा चुनाव में अपने लोककल्याण संकल्प पत्र में किया गया एक भी वादा पूरा न करने का योगी आदित्यनाथ सरकार पर आरोप लगाते हुए सरकार पर हमला कर कहा कि भाजपा ने कहा था कि सरकार बनने पर संकल्प पत्र सरकारी दस्तावेज होगा और सभी संकल्प पूरे किए जाएंगे, किन्तु जितने वादे किये थे, उनको पूरा करने में उसने कभी दिलचस्पी नही दिखायी, उसने जनता को भ्रमित कर उसके साथ सीधी धोखाधड़ी की है। भाजपा सरकार और मुख्यमंत्री जवाबदेही से लगातार बचने का प्रयास कर रहे हैं। लेकिन सरकार और भाजपा जवाबदेही से बच नही सकते है क्योंकि यह जनता से जुड़े सीधे मुद्दे है मेरा बीजेपी से सवाल है कि क्या यह संकल्प पत्र सिर्फ जनता को लुभाकर उसकी वोट लूटने की साजिश का हिस्सा मात्र था।
कांग्रेस द्वारा भाजपा की योगी सरकार से 5 सवाल जनता की तरफ से प्रतिदिन करने की श्रृंखला के अंतर्गत आज तीसरे दिन वरिष्ठ कांग्रेस नेता व पूर्व मंत्री श्री नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने कहा कि भाजपा का लोकतंत्र में विश्वास नही है। भाजपा के लोक संकल्प पत्र में किये गए उसके वादों की याद दिलाते हुए पूछा कि योगी जी बताये की उनके संकल्पों का क्या हुआ? क्योंकि उत्तर प्रदेश जानना चाहता है।
कमिश्नर लखनऊ डी के ठाकुर द्वारा आवश्यक दिशा निर्देश।
लखनऊ : कमिश्नर लखनऊ डी के ठाकुर द्वारा सर्किल चौक (थाना चौक, थाना वजीरगंज व थाना ठाकुरगंज) का किया गया अर्दली रुम, लम्बित विवेचनाओं की समीक्षा कर दिये आवश्यक दिशा निर्देश।
संभल सपा सांसद सफीकुर्रहमान बर्क का बयान
लखनऊ : संभल सपा सांसद सफीकुर्रहमान बर्क का बयान जनसंख्या नियंत्रण कानून को लेकर बयान अल्लाह की मर्जी को कोई नहीं रोक सकता-बर्क जो अल्लाह की मर्जी मोड़ना चाहेगा-बर्क वो तहस-नहस हो जाएगा-बर्क जो रूहें अल्लाह ने पैदा की हैं-बर्क उन्हें कोई नहीं रोक सकता-बर्क 2 बच्चों से अधिक पर पाबंदी की क्या बात-बर्क सरकारी शादी पर ही पाबंदी लगा दे-बर्क न शादिया होंगी न बच्चे पैदा होंगे-बर्क
अभ्यर्थियों का भाजपा कार्यालय पर धरना
लखनऊ : 69000 सहायक शिक्षक भर्ती का मामला, अभ्यर्थियों का भाजपा कार्यालय पर धरना, सैकड़ों की संख्या में अभ्यर्थी कार्यालय पहुंचे, शिक्षक भर्ती में 22000 सीटें जोड़ने की मांग, पोस्टर के साथ अभ्यर्थी कर रहे हैं प्रदर्शन।
समाजवादी पार्टी ने चुनावी गीत रिलीज
लखनऊ : समाजवादी पार्टी ने चुनावी गीत रिलीज किया भरम है क्या तुम्हें अब भी यह जनता माफ कर देगी बहुत के घर उजाड़े हैं यह सूपड़ा साफ कर देगी
पारा थाना के अंतर्गत तेज रफ्तार ट्रक ने बाइक सवार को मारी टक्कर
लखनऊ : पारा थाना के अंतर्गत तेज रफ्तार ट्रक ने बाइक सवार को मारी टक्कर तिकुनिया पर तेज रफ्तार ट्रक की टक्कर से बाइक सवार हुए घायल मौके पर पहुची पुलिस ने घायल को पहुचाया अस्पताल
कांग्रेसियों ने किया जोरदार प्रदर्शन।
लखनऊ : कांग्रेसियों ने किया जोरदार प्रदर्शन। परिवर्तन चौराहे पर सैकड़ो की संख्या में कांग्रेसी कार्यकर्ता कर रहे प्रदर्शन पेट्रोल और डीजल की बढ़ती कीमतों के खिलाफ कांग्रेस ने फिर खोला मोर्चा। तांगा और रिक्शा चलाकर कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने किया प्रदर्शन। भारी संख्या में पुलिस बल मौजूद योगी और मोदी सरकार मुर्दाबाद के लगे नारे कांग्रेसियों के प्रदर्शन को देखते हुए कई थानों की फोर्स मौके पर मौजूद। पुलिस और कांग्रेस कार्यकर्ताओं में हुई झड़प। पुलिस ने कांग्रेस कार्यकर्ताओं की करी गिरफ्तारी। सड़क जाम कर कांग्रेस कार्यकर्ता कर रहे थे प्रदर्शन। गिरफ्तारी कर कांग्रेस कार्यकर्ताओं को भेजा गया पुलिस लाइन। परिवर्तन चौराहे पर कांग्रेसी कार्यकर्ताओं की हुई गिरफ्तारी